फतेहाबाद,15 मार्च (हि.स.)। युवा एवं खेल मंत्रालय एवं क्षेत्रीय निदेशालय के तत्वावधान में राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) का फतेहाबाद के एमएम कॉलेज में सात दिवसीय राष्ट्रीय एकता शिविर चल रहा है। शिविर के तीसरे दिन शुक्रवार को वोट जागरुकता दिवस के रूप में मनाया गया। देशभर के 12 राज्यों के एनएसएस के स्वयंसेवकों ने लोगों को मतदान के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से वोटर जागरुकता रैली निकाली।

स्थानीय एमएम कॉलेज के प्रांगण से इस रैली को राष्ट्रीय सेवा योजना क्षेत्रीय निदेशालय नई दिल्ली से आए अधिकारी मनोज कुमार व एमएम एजुकेशन सोसायटी के सचिव विनोद मेहता एडवोकेट ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। एनएसएस के स्वयंसेवक मॉडल टाऊन, पपीहा पार्क, जीटी रोड होते हुए विभिन्न बाजारों में निकलते हुए लोगों से चुनाव के समय अधिक से अधिक मतदान करने की अपील की। इस रैली में इस रैली में जम्मू कश्मीर, राजस्थान, तमिलनाडू, उड़ीसा, पंजाब, गुजरात, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, तेलंगाना, असम और हरियाणा के 200 स्वयंसेवकों ने भाग लिया। रैली में स्वयंसेवकों ने ‘सारे काम छोड़ दो-सबसे पहले वोट दो’ और ‘मजबूत लोकतंत्र का आधार, स्वतंत्र मतदान का अधिकार’ जैसे नारों से शहर की गलियां और बाजार गूंज उठे। इस मौके पर मनोज कुमार व विनोद मेहता एडवोकेट ने कहा कि वोट देश के विकास का आधार है। मजबूत लोकतंत्र के लिए प्रत्येक मत का बहुत अधिक महत्व है। इसलिए सभी मतदाताओं को अपने मत का प्रयोग आवश्यक रूप से करना चाहिए ताकि भारत का लोकतंत्र मजबूत बना रहे।

रैली के बाद कॉलेज में स्वयंसेवकों को कॉलेज प्राचार्य डॉ. गुरचरण दास, एमएम कॉलेज से एनएसएस प्रोग्राम अधिकारी डॉ. विकेश सेठी व प्रो. प्रतिभा मखीजा ने मतदान की शपथ भी दिलाई गई। जम्मू कश्मीर से प्रोग्राम ऑफिसर डॉ. दीपिका शर्मा, राजस्थान से डॉ. दशरथ सिंह शेखावत, तमिलनाडु से डॉ. शुभायन देय, उड़ीसा से डॉ. श्याना त्रिपाठी, पंजाब से डॉ. बलकार सिंह, गुजरात से आरती पराग राठौड़, महाराष्ट्र से प्रो. सोनम, मध्यप्रदेश से प्रो. राकेश कोटिया, तेलंगाना से डॉ. जीएन जगन, हरियाणा से डॉ. राकेश गर्ग, असम से ज्योति प्रकाश ने भी स्वयंसेवकों को मतदान के महत्व के बारे में विस्तार से बताया। इसके अलावा प्रो. विक्रम यादव, विभागाध्यक्ष जियोग्राफी, राजकीय महिला महाविद्यालय रानियां ने भी ‘रिमोट सेंसिंग और जीआईएस एप्लीकेशन और कैरियर के अवसर’ विषय पर स्वयंसेवकों के साथ अपने विचार साझा किए। सायंकालीन सत्र में उड़ीसा, दिल्ली, जम्मू कश्मीर और मध्यप्रदेश के स्वयंसेवकों ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी गई।







हिन्दुस्थान समाचार/अर्जुन/सुनील