चंडीगढ़ : हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने दशकों पुराने एसवाईएल नहर के मुद्दे पर पंजाब के अपने समकक्ष से मिलने से एक दिन पहले बृहस्पतिवार को कहा कि रावी और ब्यास के अधिशेष जल पर उनके प्रदेश का पूरा अधिकार है।

पंजाब पुनर्गठन अधिनियम 1966 और केंद्र सरकार के एक आदेश के तहत, रावी और ब्यास नदी के अतिरिक्त पानी का 35 लाख एकड़ फुट हरियाणा को आवंटित किया गया था।

पानी को सतलुज यमुना लिंक (एसवाईएल) नहर के माध्यम से ले जाया जाना था, जो दोनों राज्यों के बीच विवाद का विषय रहा है।

हाल में उच्चतम न्यायालय ने दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों को मुलाकात कर बातचीत करने और पानी के बंटवारे के मुद्दे का एक सौहार्दपूर्ण समाधान खोजने के लिये कहा था, जिसके बाद दोनों नेताओं के बीच चर्चा का कार्यक्रम निर्धारित किया गया है ।